3.75 लाख के नकली नोट के साथ एक सौदागर चढ़ा पुलिस के हत्थे

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प्रिंटर से छपाई कर बाजार में करता था खपत

लंबे समय से कर रहा था नकली नोटों का धंधा जाता है, जिससे नोट असली लगने लगते

राजेन्द्र प्रसाद जिला संवाददाता

चन्दौली। नकली नोटों से देश की अर्थव्यवस्था को चपत लगा रहे शातिरों के नेटवर्क पर पुलिस ने बड़ा हमला किया है। जनपद के धानापुर पुलिस ने एक शातिर अभियुक्त को 375000/- रुपए के जाली करेंसी नोट के साथ गिरफ्तार किया है। बता दें कि पकड़ा गया शातिर लंबे समय से नकली नोटों को बाजारों में खपाने का काम करता था। प्रदेश सरकार की अपराध एवं अपराधियों के प्रति शून्य सहनशीलता की नीति पर चलते हुए जनपद चंदौली पुलिस ने नकली करेंसी के नेटवर्क को ध्वस्त किया है। एसपी चंदौली डा अनिल कुमार के निर्देशन में अपराध और अपराधियों पर लगाम लगाने को जनपद पुलिस द्वारा लगातार अभियान चलाया जा रहा है।

इसी क्रम में सीओ सकलडीहा रघुराज के कुशल पर्यवेक्षण में आगामी लोक सभा चुनाव को लेकर चलाये ज रहे महत्वपूर्ण दबिश, रात्रि गस्त व संदिग्ध व्यक्ति, वस्तु, वाहन के चेकिंग के दौरान थाना प्रभारी धानापुर प्रशांत सिंह ने मुखबिर की सटीक सूचना पर कार्रवाई करते हुए पंजीकृत अभियोग में दो अभियुक्त जिसमे जाली नोट छापने व उसे बाजार में चलाने का काम किया जाता था । जिसमें दो नफर अभियुक्त जिला कारागार में निरूद्ध कराया गया था। तथा एक अभियुक्त जो मुकदमा उपरोक्त में वांछित चल रहा था। गुरुवार को नगवां पुलिस चौकी चोचक पुर पीपा पुल के पास जाली नोट व जाली नोट छापने वाली मशीन के साथ गिरफ्तार किया गया।

उसके बाद सभी नोटों की गड्डी बना लिया जाता है। फिर हम लोग जाली नोटों को अपने ग्राहकों को बेच देते हैं और उनसे असली नोट ले लेते हैं। बरामद शुदा पांच सौ रुपए की जाली करेंसी नोट को देखा गया तो पाया गया कि आरबीआई लिखित तार जहां होती हैं वहां एक लाईन में छोटे छोटे टुकड़े इसी सेलों टेप को काटकर इस तरह सेट किया गया है कि असली प्रतीत हो रहा है। ग्राहकों के पाठक पुत्र शिवमूरत पाठक जो ग्राम बधावर थाना सकलडीहा जनपद चन्दौली व अरविन्द यादव पुत्र महेन्द्र यादव जो ग्राम कैलावर थाना बलुआ जनपद चन्दौली के रहने वाले हैं, ये हमारे अच्छेग्राहक है, कुछ दिन पहले इन लोगों के पास से जाली नोट मिला था, जिसके कारण वो जेल में हैं, वह नोट हम ही लोगों ने छाप कर दिया था। हम लोग उनसे बीस हजार असली रुपए लेते थे और एक लाख के जाली नोट दे देते थे।

जब से वो जेल गये हैं तब से मैं और मेरा भाई बहुत सतर्क रहते हैं। कुछ दिन बीत गया और हम लोग को जब स्थिति सामान्य लगा है तब मेरा भाई गोकुल पाण्डेय चन्दौली में ही कहीं रूम की बात किया था जहां हम लोग रूम लेकर प्रिन्टर मशीन लगाकर छपाई करने वाले थे। मेरा भाई दूसरी गाड़ी से हमारे पास आ रहा है जिसके पास जाली नोट छपाई के अन्य उपकरण है, पूर्व में भी वर्ष 2022 में मैं और मेरा भाई गोकुल थाना बलुआ से जेल जा चुके हैं परन्तु अच्छी कमाई हो जाने के कारण जेल से छूटने के बाद फिर हम दोनों भाईगो ने इस कार्य को प्रारम्भ कर दिया और इस माध्यम से बात करते थे और उनको जाली नोट सप्लाई करते हैं। हम लोगों ने यह मशीन इसीलिए खरीदी है ताकि इसे कहीं भी ले जाकर जाली नोट की छपाई आसानी से कर सकें। जो जाली नोट हमारे पास से बरामद हुए हैं वह इसी मशीन से छपाई किये हुए हैं तथा जो अ4 साईज के तीन पेज जो एक तरफ सौ रुपए की नोट की छपाई हुई है वह भी इसी मशीन से छपाई हुई है।

पकड़े गये व्यक्ति की तलाशी ली गयी तथा गत्ते को देखा गया तो वह एक प्रिन्टर का डब्बा था जिसे खोलकर देखा गया तो उसमें एक अदद प्रिन्टर एढरडठ कम्पनी का व अलग अलग रंग के इंक व केबल मिले तथा तीन अदद मुद्रा छापने वाला पेपर व विभिन्न सीरियल नं० के 03 लाख 75 हजार जाली भारतीय मुद्रा (100 रुपए के 1700 जाली नोट तथा 500 रुपए के 410 जाली नोट) मिला । आरोपी की गिरफ्तारी व बरामदगी का खुलासा करते हुए अपर पुलिस अधीक्षक विनय कुमार सिंह ने बताया कि गिरफ्तार अभियुक्त गोपाल पाण्डेय निवासी ग्राम भलुवाही थाना बघेला जनपद रोहतास बिहार पूछने पर बताया कि हम लोग साहब मै तथा मेरा भाई गोकुल पाण्डेय पहले अहमदाबाद में कम्प्यूटर प्रिन्टिंग के माध्यम से साड़ी व कपड़े प्रिन्ट व डिजाईन का कार्य करते थे, कोरोना काल में लाकडाउन की वजह से फैक्ट्री बन्द हो गयी तो हम लोग घर आ गये, परिवार के पालन पोषण में समस्या होने लगी आर्थिक तंगी के कारण हम लोगों के मन में खयाल आया कि क्यों न हम लोग भारतीय जाली मुद्रा प्रिंटिंग मशीन से छापने का कार्य करें, कि बस यूट्यूब आदि संसाधनों से जानकारी इकठ्ठा करते करते हम लोगों ने भारतीय जाली मुद्रा की छपाई का कार्य शुरू कर दिये।

भारतीय जाली मुद्रा के छपाई के कार्य में उच्च कोटी का पेपर इस्तेमाल किया जाता है जो अ4 साइज का होता है जो काले रंग का लिफाफा जिसपर JK Excel Bond 80 GSM लिखा है इसी के कागज जाली रुपये के छपाई में हम लोग उपयोग करते है। जो प्रिंटर मशीन मेरे पास से आपने बरामद किया है यह भी उच्च कोटी का प्रिंटर है जिससे हम पैसे छापते है। एक बार में चार नोटों को एक साथ अ4 साइज पेपर पर स्कैन कर प्रिंट किया जाता है फिर बहुत ही बारीकी व व्यवस्थित तरीके से उसी अ4 साइज पेपर पर दूसरे तरफ चारों नोटों को स्कैन कर प्रिंट कर दिया जाता है। उसके बाद कटर व कैंची आदि उपकरणो के माध्यम से एक पेपर में चार नोट काटकर तैयार कर लिया जाता है। जो चमकीले हरे रंग का सेलो टेप जाली करेन्सी नोट के बीच में आप लोगों को मिला है, कैंची से छोटे छोटे टुकड़े काटकर जगह पर चस्पा कर दिया वर्ष भी हमारे गैंग का एक सदस्य अमरेश पाठक व अरविन्द यादव थाना थानापुर से जेल चला गया। इसलिये हम लोगों ने यह प्लान तैयार किया कि अब चन्दौली जनपद में पैसे बाजार में नहीं डाले जायेगें, बल्कि चन्दौली में ही पैसे छपाई का काम किया जायेगा तथा अन्य जगहों पर सप्लाई किया जायेगा ताकि किसी को आभास न हो।

पकड़े न जाये इसलिये हम लोग अपने ग्राहकों से सिर्फ व्हाट्सएप के माध्यम से बात करते थे और उनको जाली नोट सप्लाई करते हैं। हम लोगों ने यह मशीन इसीलिए खरीदी है ताकि इसे कहीं भी ले जाकर जाली नोट की छपाई आसानी से कर सकें। जो जाली नोट हमारे पास से बरामद हुए हैं वह इसी मशीन से छपाई किये हुए हैं तथा जो अ4 साईज के तीन पेज जो एक तरफ सौ रुपए की नोट की छपाई हुई है वह भी इसी मशीन से छपाई हुई है।

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